PM INDIA Shree Narendar Modi and CM Rajasthan Shree Ashok Ghelot

सचिन को भूले गहलोत चले पीएम आवास पर धरने को

Edit-Rashmi Sharma

जयपुर 26 जुलाई 2020 – पिछले एक पखवाड़े से राजस्थान की राजनीति में भटकाव आ गया है शुरुआत हॉर्स ट्रेडिंग से हुई बीजेपी पर आरोप लगे फिर गहलोत जी की तोप घूम कर अपने साथी सचिन की और तन गई सचिन की टीम को विधानसभा से निकालने के लिए अध्यक्ष जी का नोटिस हाई कोर्ट पहुंच गया हाईकोर्ट के बाद एक ही जगह बचती है सुप्रीम कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट भी पहुंच गए वहां पहुंचते-पहुंचते अशोक गहलोत – सचिन पायलट के अलावा भारतीय जनता पार्टी ने भी प्रवेश कर लिया

बात न्यायालय के फैसले के इंतजार की थी लेकिन राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को इंतजार से अधिक अपने साथियों की वफादारी पर भरोसा था इसलिए उन्होंने विधानसभा सत्र का आह्वान किया और यह आह्वान राजभवन और पड़ोसी आठ नंबर में रहने वाले मुख्यमंत्री के बीच नया संघर्ष छेड़ गया बात इंतजार की थी लेकिन गहलोत साहब ने राजभवन को चेतावनी दे दी कि अगर आपने लोकतंत्र की हत्या की तो राजस्थान की जनता राजभवन का घेराव करेगी और इसकी जवाबदारी हमारी नहीं होगी इस “हमारी” शब्द में मुख्यमंत्री और राजस्थान के गृहमंत्री अशोक गहलोत दोनों शामिल हो गए और यहीं से प्रदेश भाजपा ने इस जंग में कूदने का निर्णय किया है

आज राजस्थान में कोरोना कितना विकराल रूप ले चुका है कि छोटे शहरों से सौ – सौ मरीज निकल कर आ रहे हैं देशभर में कोरोना को पछाड़ने में राजस्थान सर्वोपरि था लेकिन इन दिनों राजस्थान के मुख्यमंत्री और कोरोना की जंग में विजेता स्वास्थ्य मंत्री रघु शर्मा होटल फैरमोंट और मुख्यमंत्री निवास की कैबिनेट मीटिंगो में इतने व्यस्त हैं कि कोरोना की चिंता स्वयं राजस्थान के 8 करोड़ प्रदेश वासी करने लगे हैं

मुख्यमंत्री अशोक गहलोत विधानसभा सत्र की फाइल राजभवन द्वारा मंजूरी नहीं देने के विरोध में अपने समर्थक 102 विधायकों को होटल से राजभवन के प्रांगण में ले जाकर राजभवन की मर्यादा के खिलाफ नारेबाजी करवा चुके हैं और राज्यपाल द्वारा नाराजगी जताने पर 5 घंटे बाद राजभवन से विधायकों का धरना समाप्त कर वापस अपने समर्थक विधायकों को होटल की बाड़ा बंदी में डाला है

राजस्थान बीजेपी के अध्यक्ष सहित वरिष्ठ नेताओं के साथ जयपुर के सांसद भी 1 दर्जन से अधिक की टीम बनाकर राजभवन पहुंचे और मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के राजभवन की घेराव की चेतावनी को अपराधिक मांनते हुए आईपीसी की धाराओं का भी उल्लेख कर दिया बीजेपी के वरिष्ठ नेताओं ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की राजभवन को चेतावनी देना राजस्थान की शांति व्यवस्था के लिए एक चिंताजनक मुद्दा बताया

राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत अपनी लड़ाई को जयपुर से दिल्ली पीएम हाउस राष्ट्रपति भवन और देश भर के राज भवनों के बाहर प्रदर्शन करवा कर “लोकतंत्र की हत्या” के बैनर तले क्या संदेश देना चाहते हैं यह तो पता नहीं लेकिन आश्चर्य इस बात का है कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत जिस आपसी लड़ाई को राष्ट्रीय स्तर पर ले गए हैं उनके समर्थन में कांग्रेस हाईकमान के नेताओं में सोनिया गांधी राहुल गांधी प्रियंका और किसी बड़े महासचिव ने अब तक समर्थन का बयान नहीं दिया है क्या कांग्रेस हाईकमान सचिन – गहलोत के आपसी झगड़े में कूदना नहीं चाहती है या 19 विधायकों के साथ दिल्ली के पास हरियाणा की होटल में बैठे सचिन पायलट को “मौन” समर्थन है

 

लेखक – रोशन झा

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