Edit- Rashmi Sharma
नई दिल्ली 10 सितंबर 2020 – ऊर्जा क्षेत्र की तीन दिग्गज कंपनियों एनटीपीसी, इंडियन आॅयल और कोल इंडिया लिमिटेड के संयुक्त उद्यम हिंदुस्तान उर्वरक एंड रसायन लिमिटेड का गठन देश के पूर्वी हिस्से में गोरखपुर, सिंदरी और बरौनी में तीन पुराने यूरिया संयंत्रों को पुनर्जीवित करने के लिए किया गया था। 01.08.2018 को हुई अपनी बैठक में आर्थिक मामलों की मंत्रिमंडलीय समिति ने एचयूआरएल को 1,258 करोड़ रुपये का ब्याज मुक्त ऋण प्रदान किया था। एचयूआरएल को यह फंड जारी करने के लिए 8 सितंबर 2020 को एचयूआरएल और उर्वरक विभाग के बीच एक समझौते पर हस्ताक्षर किए गए। केंद्रीय रसायन और उर्वरक मंत्री श्री डीण् वीण् सदानंद गौड़ा की मौजूदगी में इस समझौते पर हस्ताक्षर किए गए।
इस समझौते पर हस्ताक्षर करते हुए एचयूआरएल के एमडी श्री अरुण गुप्ता ने इस अभूतपूर्व समर्थन के लिए उर्वरक विभाग और नीती आयोग के प्रति गहरा आभार जताया और सरकार से इस ऋण को जल्द जारी करने का अनुरोध भी किया।
इस अवसर पर केंद्रीय रसायन और उर्वरक मंत्री श्री डीण् वीण् सदानंद गौड़ा ने तीनों परियोजनाओं में एचयूआरएल द्वारा हासिल की गई समग्र प्रगति पर संतोष व्यक्त किया और उम्मीद जताई कि कोविड-19 महामारी के कारण होने वाली देरी को कम से कम किया जा सकेगा। उन्होंने एचयूआरएल को जल्द ऋण जारी करने का वादा भी किया और उम्मीद व्यक्त की कि वर्ष 2021 में सभी 3 यूरिया संयंत्रों को चालू कर दिया जाएगाए जिससे यूरिया संबंधी मांग को पूरा करने के लिहाज से देश आत्मनिर्भर हो सकेगा।