Editor-Ravi Mudgal
जयपुर 18 मार्च 2021 – इस महामारी के आने के साथ डिजिटलीकरण की एक नई लहर भी पैदा हुई। और इस डिजिटलीकरण के चलते छोटे व्यवसाइयों और उद्यमों के सामने उन्हें स्वयं को बचाये रखने के लिए बड़ी चुनौतियां भी पैदा हुईं। बाधित परिचालनों से लेकर वित्तीय आंकड़ों की उपलब्धता तक, डिजिटल व्यवहारों की गैर-मौजूदगी उनके लिए महंगी पड़ी। मौजूदा कोविड स्थिति के चलते व्यवसाइयों को यह समझने में मदद मिली है कि विशेष तौर पर सिस्टम्स एवं सॉफ्टवेयर से जुड़े सिस्टम्स एवं सॉफ्टवेयर स्थान-विशेष पर केंद्रित नहीं होने चाहिए। इंस्टामोजो के ‘इंडियन ई-कॉमर्स आउटलुक रिपोर्ट 2021’ शीर्षकयुक्त हाल की रिपोर्ट के आंकड़ों से पता चला कि ई-इनवॉयसिंग और सिंगल-प्लेटफॉर्म ऑटोमेशन, माइक्रो-बिजनेसेज और आधुनिक उद्यमियों के व्यावसायिक परिचालनों हेतु सबसे पसंदीदा तरीके के रूप में उभर रहे हैं।
रिपोर्ट में बताया गया है कि लगभग 90% व्यवसाइयों का अकाउंटिंग बैकग्राउंड नहीं रहा है। डिजिटल बदलाव द्वारा लाये गये आसान कार्य-व्यवहार का अनुभव कर चुकने के बाद, अब व्यवसायों द्वारा ऐसे अकाउंटिंग सॉफ्टवेयर की मांग की जाने लगी है, जो यूजर-फ्रेंड्ली और भरपूर फीचर्स वाले होने के साथ-साथ लागत की दृष्टि से भी किफ़ायती हों। आज, व्यवसायी यह चाहते हैं कि उनके व्यवसाय से जुड़े फाइनेंशियल डाटा ऐसे हों जिन्हें वो अपने स्मार्टफोन या लैपटॉप्स के जरिए भी आसानी से उपयोग कर सकें। रिपोर्ट से जुड़े आंकड़ों से पता चलता है कि ईमेल इनवॉयसेज के उपयोग में लगभग 125% की वृद्धि हुई है और पेमेंट लिंक्स वाले इनवॉयसेज के उपयोग में 150% की वृद्धि हुई है। इससे पता चलता है कि व्यवसायी (बिजनेस ओनर्स) आइसोलेटेड (पृथक्) ऑफलाइन सॉफ्टवेयर की जगह एकीकृत अकाउंटिंग सॉफ्टवेयर को अधिक वरीयता दे रहे हैं।
रिपोर्ट में व्यापार स्वचालन की बढ़ती प्राथमिकता पर भी प्रकाश डाला गया है। ऐसा व्यापार स्वचालन (बिजनेस ऑटोमेशन) जिसमें एकीकृत समाधान प्लेटफॉर्म हो जहां एक ही जगह कई एप्लिकेशंस उपलब्ध हों और जिनसे व्यावसायिक परिचालनों का आसान उपयोग सुनिश्चित हो। व्यवसायों का अधिक कुशलतापूर्वक काम करने पर अधिक जोर है जिसमें यथासंभव कम डुप्लिकेशन की जरूरत हो। सरल ऑटोमेशंस, कई एप्लिकेशंस के उपयोग की जगह ले रहे हैं, क्योंकि सिंगल एकीकृत एप्लिकेशंस से समय, धन और प्रयासों को बचाने में मदद मिलेगी।
ई-अकाउंटिंग और बिजनेस ऑटोमेशन समाधानों की प्रासंगिकता और आवश्यकता पर अपने विचार साझा करते हुए, आकाश गोहानी, सह-संस्थापक और सीओओ, इंस्टामोजो ने कहा, “हम पहले से ही डेटा संग्रह और प्रसंस्करण (प्रोसेसिंग) में एक बड़ा बदलाव देख रहे हैं, जिसमें सरकारी दस्तावेजों की लिंकिंग के जरिए व्यक्तिगत पहचान स्थापित करने हेतु तकनीक का उपयोग हो रहा है। व्यावसायिक परिचालनों में भी इसकी झलक मिल रही है। छोटे व्यवसाय, परिचालनों के लिए स्वयं को तेजी से तकनीकी के जानकार बना रहे हैं, और हम इसे एक तकनीकी-सक्षम राष्ट्र के निर्माण के लिए एक सकारात्मक संकेतक मानते हैं। व्यवसाय आज न केवल संचालन के लिए, बल्कि अन्य महत्वपूर्ण पहलुओं जैसे कि लेखांकन और चालान के लिए डिजिटल मोड अपना रहे हैं। इसके अतिरिक्त, हाल ही में 50 करोड़ रुपये से अधिक के कारोबार के लिए ई-चालान दाखिल करने को लेकर सरकारी घोषणा के साथ, लेखांकन के डिजिटल साधनों को अपनाने वाले व्यवसायों की संख्या में वृद्धि होगी, और इससे डिजिटल इंडिया में व्यापक रूप से योगदान मिलेगा। इंस्टामोजो ने हमेशा से डिजिटल समाधानों के जरिए ई-चालान से लेकर ई-कॉमर्स तक एमएसएमई क्षेत्र के विकास का समर्थन करने की दिशा में काम किया है।”