वर्तमान दौर में बढ़ते तनाव एवं दबाव को ध्यान में रखते हुए संस्कृति मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा आजादी का अमृत महोत्सव के तहत श्री रामचंद्र मिशन और हार्टफुलनेस संस्थान के साथ मिलकर योग एवं ध्यान कार्यक्रमों की श्रृंखला ‘हर दिल ध्यान, हर दिन ध्यान‘ शुक्रवार को जयपुर में राजस्थान विश्वविद्यालय के स्पोर्ट्स ग्राउण्ड में आरम्भ हुई। योग महोत्सव में हजारों की संख्या में लोगों एवं विद्यार्थियों ने भाग लिया। तीन दिवसीय यह इस निःशुल्क योग महोत्सव का आयोजन राजस्थान विश्वविद्यालय के सहयोग एवं एयू स्मॉल फायनेंस बैंक के सौजन्य से किया जा रहा है। योग महोत्सव के प्रथम दिवस राजस्थान लघु उद्योग निगम (राजसिको) एवं राजस्थान एक्सपोर्ट प्रमोशन काउंसिल (आरईपीसी) के चैयरमेन, श्री राजीव अरोड़ा; राजस्थान विश्वविद्यालय कुलपति प्रो राजीव जैन; डीन स्टूडेंट वेलफेयर, डॉ नरेश मलिक ने भी शिरकत की। उन्होंने प्रसन्नता जाहिर करते हुए कहा कि इस प्रकार के आयोजन से योग के प्रति जागरूकता बढ़ती है और यह लोगों के तनाव को कम करने और ध्यान केन्द्रित करते में सहायक होते हैं।
इस अवसर पर हार्टफुलनेस संस्थान के राज्य समन्वयक विकास मोघे; क्षेत्रिय समन्वयक तरुण तोषनीवाल; केंद्र समन्वयक सुनील अग्रवाल; राज्य कार्यक्रम समन्वयक अमित खंडेलवाल; जयपुर मीडिया समन्वयक अंकुर शाह; जयपुर कार्यक्रम समन्वयक राकेश भारद्वाज; ब्राइटर माइंड समन्वयक सुश्री शिमला भारद्वाज और एयू स्मॉल फायनेंस बैंक के उच्च अधिकारी उपस्थित थे।
योग महोत्सव में ध्यान करने और हाइपरटेंशन को दूर करने पर, परीक्षा भय, चिंता, फोकस, स्मरण शक्ति से संबंधित हार्टफुलनेस मेडिटेशन, ब्राइटर मांइड मॉर्डन टेक्नोलोजी, विजडम ब्रिज और योग, आसन, प्राणायाम एवं मुद्रायें करवाई गई। आसन के तहत सुखासन, वीरभद्रासन और त्रिभुज आसन करवाये गए। प्राणायाम में यौगिक श्वास एवं भस्त्रिका और मुद्राओं में ज्ञान मुद्रा एवं प्राण मुद्रा का अभ्यास करवाने के साथ योग महोत्सव के प्रथम दिन का समापन हुआ। इस अवसर पर कुछ बच्चों ने मंच पर उपस्थित प्रतिभागियों के समक्ष बंद आंखों के पुस्तक पढ़ कर और रंगों की पहचान कर ब्राइटर मांइड एक्टिविटी का प्रदर्शन किया।
उल्लेखनीय है कि योग महोत्सव के दूसरे दिन शनिवार, 18 मार्च को उच्च रक्तचाप और वजन नियंत्रण से संबंधित आसन, प्राणायाम एवं मुद्राएं करवायी जायेंगी। उच्च रक्तचाप नियंत्रण के लिए ताड़ासन, त्रियक ताड़ासन एवं कटिचक्रासन आसन जबकि प्राणायाम के तहत नाड़ीशोधन, शीतली करवायी जायेगी। इसी प्रकार वजन नियंत्रण के संबंधित आसन के तहत उत्कटासन एवं सूर्य नमस्कार जबकि प्राणायाम के तहत कपालभाति एवं भ्रामरी तथा सूर्य मुद्रा एवं हृदय मुद्रा करवायी जायेंगी।
इसी प्रकार योग महोत्सव के अंतिम दिन, रविवार 19 मार्च को मधुमेह और थायराइड नियंत्रण से संबंधित आसन, प्राणायाम एवं मुद्राएं करवायी जायेंगी। इस दिन साइकिलिंग, हस्तपादासन, अर्ध चक्रासन, अर्ध कटि चक्रासन और मंडूकासन करवाये जायेंगे जबकि प्राणायाम के तहत सिंह क्रिया और अग्निसार प्राणायाम करवाया जायेगा। इसी प्रकार अपान मुद्रा और शून्य मुद्रा करवायी जायेंगी।
सामाजिक सरोकर को समर्पित एयू फाउंडेशन के सहयोग से जयपुर और सीकर के अतिरिक्त इसी प्रकार के योग महोत्सव का आयोजन 15 अगस्त तक जोधपुर, बीकानेर, उदयपुर, सागवाड़ा, अलवर, भरतपुर, कोटा, अजमेर, भीलवाड़ा, आदि विभिन्न शहरों में भी किये जायेंगे, जिसमें कुल 1 लाख से अधिक लोग भाग लेंगे।
व्यक्तिगत एवं समुदायिक स्तर पर आंतरिक शांति, आनंद और समग्र कल्याण की खोज में मदद करने के लिए हार्टफुलनेस योग एवं ध्यान कार्यक्रमों की यह श्रृंखला आयोजित की जा रही है। मानसिक स्वास्थ्य पर विशेष रूप से केन्द्रित इन कार्यक्रमों में हार्टफुलनेस संस्थान के संस्थापक एवं श्री रामचंद्र मिशन के अध्यक्ष, श्री कमलेश पटेल जी के मार्गदर्शन में योग एवं ध्यान के अनेक कार्यक्रम शामिल हैैं।
राजस्थान विश्वविद्यालय की सक्रिय भागीदारी मे आयोजित इस योग महोत्सव से विश्वविद्यालय के छात्र-छात्राओं को अत्यधिक लाभ मिलेगा। इस कार्यक्रम के तहत ब्लड प्रेशर, मोटापा, डायबिटीज आदि के लिए लाभकारी आसन, प्राणायाम, मुद्राओं के व्यावहारिक अभ्यास के साथ ही डिप्रेशन, तनाव प्रबन्धन, एकाग्रता एवं आत्मविश्वास में वृद्धि के लिए हार्टफुलनेस के प्राणाहुति आधारित ध्यान का तीनों दिन व्यावहारिक अभ्यास करवाया जायेगा। योग महोत्सव में छोटे बच्चों के मानसिक विकास के लिए ब्राइटर माइण्ड्स की प्रभावी तकनीकों का प्रदर्शन भी होगा। यह बच्चों की एकाग्रता एवं आत्मविकास वृद्धि में सहायक होगा।
जयपुर में आयोजित योग महोत्सव के लिए पंजीकरण का विवरण https://hfn.link/hdd पर उपलब्ध है।
हार्टफुलनेस योग और ध्यान कार्यक्रमों की अतिरिक्त जानकारीः
हार्टफुलनेस के ध्यान सत्र पूर्णतया निःशुल्क होते हैं। दुनियभर में 150 से अधिक देशों में हार्टफुलनेस के 20000 से अधिक प्रशिक्षक हैं जो इस सरल अभ्यास को बिना किसी शुल्क के उपलब्ध करातें हैं ताकि हर एक व्यक्ति को इसका लाभ मिल सके। जयपुर में व्यक्तिगत स्तर पर 60 से अधिक स्वयंसेवी प्रशिक्षकों की सहायता से ध्यान का अभ्यास सुगमता से किया जा सकता है। इसके साथ ही हार्टफुलनेस मोबाइल ऐप के माध्यम से घर बैठे भी इसका अभ्यास किया जा सकता है, हार्टफुलनेस ऐप एण्ड्रॉइड व एप्पल के प्ले स्टोर पर निःशुल्क उपलब्ध है।
हार्टफुलनेस संस्थान, रिलेक्सेसन एवं मेडिटेशन के लिए जाना जाता है। हार्टफुलनेस रिलेक्सेसन एवं मेडिटेशन ध्यान का एक प्रभावशाली एवं सरल तरीका है जिसके द्वारा हम हृदय की अन्तःप्रेरणा का अनुसरण करते हैं और मन और हृदय के बीच एकरूपता लाने का अभ्यास करते हैं। जिससे मानसिक तनाव, क्रोध आदि में कमी आती है, प्रशन्नता एवं कार्यक्षमता बढ़ती है जिससे हमारे व्यवहार एवं सोच में स्थायी बदलाव आता है।
हार्टफुलनेस संस्थान एवं श्री रामचन्द्र मिशन किसी भी धर्म या सम्प्रदाय से सम्बद्ध नहीं है। यह एक अलाभकारी आध्यात्मिक संस्था है जिसकी स्थापना 1945 में हुई थी। वर्तमान में यह संयुक्त राष्ट्र संघ के यूएनडीपीआई से अन्तर्राष्ट्रीय गैर-सरकारी संस्था के रूप में सम्बद्ध है एवं विश्वभर में आध्यात्मिकता के जिज्ञासुओं को मानव कल्याणकारी हार्टफुलनेस मेडिटेशन का अभ्यास निःशुल्क उपलब्ध करवाता है। इसका विश्व मुख्यालय कान्हा शान्तिवनम हैदराबाद में है जहाँँ पर विश्व का सबसे बड़ा मेडिटेशन हॉल है जो अपने आध्यात्मिक एवं सुखद पर्यावरणीय वातावरण के लिए विख्यात है।