Edit-Rashmi Sharma
जयपुर 11 सितम्बर 2020 -देश के कुछ सबसे बड़े वित्तीय संस्थानों से हासिल समर्थन के बाद येस बैंक ने अपने नए बोर्ड द्वारा निर्धारित लक्ष्यों को प्राप्त करने की दिशा में काफी प्रगति की है। बैंक सभी प्रमुख मुद्दों को सुलझाने का प्रयास कर रहा है और अपने ग्राहकों और हितधारकों दोनों को अपनी और से और अधिक समर्थन देने पर ध्यान केंद्रित कर रहा है।
येस बैंक के चेयरमैन श्री सुनील मेहता ने बैंक की वार्षिक आम सभा को संबोधित करते हुए कहा –येस बैंक के 15000 करोड़ रुपये के फॉलो-ऑन पब्लिक ऑफरिंग (एफपीओ) का सफल होना दरअसल बैंक में संस्थागत और खुदरा निवेशकों के मजबूत आत्मविश्वास को दर्शाता है। निवेशकों ने यह भरोसा नए नेतृत्व के तहत पुनर्गठन संबंधी बैंक की योजना, नेतृत्व द्वारा उठाए गए कदमों और भविष्य के रोडमैप और इसके पेशेवर प्रबंधन के प्रति व्यक्त किया है।
उन्होंने आगे बताया- आरबीआई द्वारा उपलब्ध कराई गई 50000 करोड़ रुपए की स्पेशल लिक्विडिटी फेसिलिटी (एसएलएफ) के अलावा, बैंक ने ग्राहकों की ओर से भी लिक्विडिटी इनफ्लो हासिल किया है। मुझे यह बताते हुए प्रसन्नता हो रही है कि बैंक ने तय तारीख से पहले 8 सितंबर को 50000 करोड़ रुपए की स्पेशल लिक्विडिटी फेसिलिटी को आरबीआई को पूरी तरह चुका दिया है।
श्री मेहता ने कहा- बहुत कम समय सीमा के भीतर बैंक ने जो बदलाव लागू किए हैं, उनके सकारात्मक परिणाम सामने आए हैं और प्रमुख रेटिंग एजेंसियों द्वारा बैंक के फाइनेंशियल इंस्ट्रूमेंट्स को अपग्रेड करना इस बात का प्रमाण है।
मूडीज इन्वेस्टर्स सर्विस (मूडीज) ने हाल ही में बैंक की रेटिंग को ‘स्टेबल आउटलुक‘ में अपग्रेड किया है। क्रिसिल ने सर्टिफिकेट ऑफ डिपॉजिट्स के लिए अपनी रेटिंग को A2 to A2+ संशोधित किया और इंडिया रेटिंग्स ने BB से BBB (इंफ्रास्ट्रक्चर बॉन्ड के लिए स्थिर) और B+ BBB- (बैंक द्वारा जारी किए गए बेसल प्प्प् टियर 2 बॉन्ड के लिए स्थिर) संशोधित किया।
श्री मेहता ने कहा- हम येस बैंक में स्थायी विकास के तीन स्तंभों पर काम कर रहे हैं – डिजिटलाइजेशन स्ट्राॅन्ग गवर्नेंस और रिस्क फ्रेमवर्क। हम अपनी सफलता को हमारे हितधारकों के साथ साझा करते हैं। हमारे ये कदम ही हमारी परिवर्तन यात्रा की नींव रखेंगे।
पर्यावरण, सामाजिक और कॉर्पोरेट प्रशासन (ईएसजी) पर ध्यान बढ़ाने की अपनी योजना के तहत, बैंक एक ऐसी संस्था बनाने की प्रक्रिया में है, जिसे अपनी ईमानदारी के साथ-साथ गवर्नेंस के उच्चतम मानकों और जोखिम प्रबंधन के लिए विश्वसनीय माना जाए।
श्री मेहता ने कहा, ‘‘आगे देखते हुए हमें इस बात को समझना होगा कि वित्त वर्ष 2020-21 मुश्किलों से भरा साल होगा, क्योंकि हमें हमारी सेहत के साथ-साथ अर्थव्यवस्था पर पड़ने वाले कोविड-19 के व्यापक असर से लड़ना है। मुझे अपने प्रमुख घरेलू और वैश्विक बैंकिंग साथियों के बीच बैंक को उसकी उचित स्थिति में बहाल करने के लिए कार्यरत हमारी टीम के प्रति बहुत विश्वास है। टैक्नोलाॅजी के लिहाज से येस बैंक लगातार आगे है और हम अपने सभी हितधारकों को लाभ पहुंचाने के लिए लगातार तत्पर हैं।‘‘
येस बैंक चेयरमैन ने बैंक में विश्वास कायम रखने के लिए सभी हितधारकों का आभार व्यक्त किया और कहा कि उन्हें एक ऐसे संस्थान का हिस्सा होने पर गर्व की गहरी अनुभूति हुई है, जो इन सकारात्मक परिणामों को प्रदान करने के लिए उल्लेखनीय आत्मविश्वास दिखाता रहा। उन्होंने कहा, ‘‘भारत सरकार, आरबीआई, अन्य नियामकों, निवेशकों, निष्ठावान ग्राहकों, बोर्ड के सदस्यों और 21000 से अधिक अति उत्साही और प्रतिबद्ध कर्मचारियों के समर्थन के बिना यह उपलब्धियां और बदलाव कभी संभव नहीं होते।