Editor-Manish Mathur
जयपुर, 7 दिसम्बर 2020ः डीसीएम श्रीराम लिमिटेड का एग्री-स्किलिंग सीएसआर प्रोग्राम जीतेगा किसान, किसानों की उत्पादकता और मुनाफ़ा बढ़ाने के उद्देश्य के साथ आधुनिक कृषि तकनीकों एवं प्रथाओं को बढ़ावा देने के लिए कोटा के किसानों के साथ मिलकर काम कर रहा है।
प्रोग्राम के तहत बनियानी, जोधपुरा और मंडालिया के तीन क्लस्टर्स के 900 किसानों को हमारी पार्टनर टीम आईएसएपी (इंडियन सोसाइटी आॅफ एग्रीबिज़नेस प्रोफेशनल्स) के विज़िट एवं डेमो प्लाॅट के माध्यम से आधुनिक कृषि प्रथाओं पर प्रशिक्षण दिया जा रहा है।
तीनों क्लस्टर्स, जो कोटा के 18 गांवों को कवर करते हैं, इस क्षेत्र में खरीफ के इस सीज़न में 800 एकड़ ज़मीन में धान उगाया गया। किसानों को पराली जलाने से रोकने के लिए हमने डीकम्पोज़र स्प्रे तकनीक को बढ़ावा दिया। डिकम्पोज़र स्प्रे के उपयोग से पराली डिकम्पोज़ हो जाती है और खेत में ही जाकर खाद बन जाती है। इससे न केवल प्रदूषण को रोकने में मदद मिलती है बल्कि ज़मीन की उर्वरता भी बढ़ती है।
हमने 20 डेमो प्लाॅट बनाए और हर डेमो प्लाॅट के माध्यम से 50 किसानों को प्रशिक्षित किया गया। इस तरह तकरीबन 1000 किसानों को डीकम्पोज़र स्प्रे प्रक्रिया के बारे में जागरुक बनाया गया, ताकि वे अपने खेत में पराली न जलाएं। इस प्रोग्राम से हमें बहुत अच्छी प्रतिक्रिया मिली है और किसान पराली जलाने के बजाए डीकम्पोज़र स्प्रे तकनीक को खूब पसंद कर रहे हैं।
इस तकनीक से न केवल वायू प्रदूषण कम करने में मदद मिलती है, बल्कि मिट्टी में ओर्गेनिक कार्बन की मात्रा बढ़ने से जमीन की उर्वरता भी बढ़ती है। ओर्गेनिक कार्बन से मिट्टी में पोषक तत्व और नमी बरक़रार रहती है।